UP Board and NCERT Solution of Class 10 Science Chapter- 3 Metals and Non-Metals ( धातु और अधातु ) NCERT Important Question Answer

UP Board and NCERT Solution of Class 10 Science [विज्ञान] ईकाई 1 रासायनिक पदार्थ- प्रकृति एवं व्यवहार – Chapter- 3 Metals and Non-Metals ( धातु और अधातु ) NCERT Question Answer

प्रिय पाठक! इस पोस्ट के माध्यम से हम आपको कक्षा 10वीं विज्ञान ईकाई 1 रासायनिक पदार्थ- प्रकृति एवं व्यवहार (Chemical substances- Nature and Behavior ) के अंतर्गत चैप्टर 3 Metals and Non-Metals ( धातु और अधातु ) पाठ के NCERT  के कुछ महत्वपूर्ण  प्रश्न  उत्तर सहित प्रदान किया जा रहे हैं । UP Board आधारित प्रश्न हैं। आशा करते हैं कि पोस्ट आपको पसंद आयेगी अगर पोस्ट आपको पसंद आई तो इसे अपने दोस्तों के साथ में जरुर शेयर करें

अम्ल, क्षारक, अम्ल तथा क्षारक के मध्य अभिक्रिया, सूचक, Ph मान , उदासीनीकरण, लवण

क्रिस्टलन जल: जलयोजित लवण अभिक्रिया 

Class  10th  Subject  Science (Vigyan)
Pattern  NCERT  Chapter-  Metals and Non Metals

NCERT पाठ्यपुस्तक के प्रश्नउत्तर

प्रश्न 1. ऐसी धातु का उदाहरण दीजिए जो

(i) कमरे के ताप पर द्रव होती है।

(ii) चाकू से आसानी से काटा जा सकता है।

(iii) ऊष्मा की सबसे अच्छी चालक होती है।

(iv) ऊष्मा की कुचालक होती है।

उत्तर (i) मर्करी (Hg)।

(ii) सोडियम (Na), लीथियम (Li) और पोटैशियम (K) ।

(iii) सिल्वर (Ag) तथा कॉपर (Cu) ।

(iv) लेड (Pb) तथा मर्करी (Hg)।

प्रश्न 2. आघातवर्ध्य तथा तन्य का अर्थ बताइए।

उत्तरकुछ धातुओं को पीटकर पतली चादर बनायी जा सकती है। इस गुणधर्म को आघातवर्ध्यता कहते हैं। सोना तथा चाँदी सबसे अधिक आघातवर्ध्य धातुएँ हैं।

धातु के पतले तार के रूप में खींचने की क्षमता को तन्यता कहा जाता है। सोना सबसे अधिक तन्य धातु है।

प्रश्न 3. सोडियम को किरोसीन तेल में डुबोकर क्यों रखा जाता है?

उत्तर सोडियम सामान्य ताप पर भी नमी तथा ऑक्सीजन के साथ तेजी से अभिक्रिया करती है। किन्तु यह किरोसीन के साथ न तो कोई अभिक्रिया करती है और न ही इसमें घुलती है। अतः सोडियम को किरोसीन तेल में डुबोकर रखा जाता है।

प्रश्न 4. इन अभिक्रियाओं के लिए समीकरण लिखिए :

(i) भाप के साथ आयरन

(ii) जल के साथ कैल्सियम तथा पोटैशियम।

उत्तर- (a) 2Fe + 3H2O → Fe2O3 + 3H2

(b) Ca + 2H2O → Ca(OH)2+ H2

प्रश्न 5. A, B, C एवं D चार धातुओं के नमूनों को लेकर • एक-एक करके निम्न विलयन में डाला गया। इससे प्राप्त परिणाम को निम्न प्रकार से सारणीबद्ध किया गया है :

धातु आयरन (II) सल्फेट कॉपर (II) सल्फेट जिंक सल्फेट सिल्वर नाइट्रेट
A कोई अभिक्रिया नहीं विस्थापन    
B विस्थापन   कोई अभिक्रिया नहीं
C कोई अभिक्रिया नहीं कोई अभिक्रिया नहीं कोई अभिक्रिया नहीं विस्थापन
D कोई अभिक्रिया नहीं कोई अभिक्रिया नहीं कोई अभिक्रिया नहीं कोईअभिक्रिया नही

इस सारणी का उपयोग कर धातु A, B, C एवं D के सम्बन्ध में निम्न प्रश्नों के उत्तर दीजिए :

(i) सबसे अधिक अभिक्रियाशील धातु कौनसी है?

(ii) धातु B को कॉपर (II)’ सल्फेट के विलयन में डाला जाए तो क्या होगा?

(iii) धातु A, B, C एवं D को अभिक्रियाशीलता के घटते हुए क्रम में व्यवस्थित कीजिए।

उत्तर(i) धातु B सर्वाधिक अभिक्रियाशील धातु है।

(ii) विस्थापन अभिक्रिया घटित होगी।

(iii) धातु B > धातु A > धातु C > धातु D

प्रश्न 6. अभिक्रियाशील धातु को तनु हाइड्रोक्लोरिक अम्ल में डाला जाता है तो कौनसी गैस निकलती है? आयरन के साथ तनु H2SO4 की रासायनिक अभिक्रिया लिखिए।

उत्तरधातु के लवण के साथ हाइड्रोजन गैस निकलती है।

Fe +HO4 FeSO4 + H2

प्रश्न 7. जिंक को आयरन (II) सल्फेट के विलयन में डालने से क्या होता है? इसकी रासायनिक अभिक्रिया लिखिए।

उत्तर– जिंक आयरन (II) सल्फेट विलयन से आयरन को विस्थापित कर देता है।

Zn + FeSO4 → ZnSO4 + Fe

प्रश्न 8. (i) सोडियम, ऑक्सीजन एवं मैग्नीशियम के लिए इलेक्ट्रॉनबिंदु संरचना लिखिए।

(ii) इलेक्ट्रॉन के स्थानांतरण के द्वारा Na2O एवं MgO का निर्माण दर्शाइए।

(iii) इन यौगिकों में कौनसे आयन उपस्थित हैं?

(iii) Na2O यौगिक में उपस्थित आयन -धन आयन (Na+) तथा ऋण आयन (0 2-) ।

MgO में उपस्थित आयन-धन आयन (Mg2+) तथा ऋण आयन (02-)

प्रश्न 9. आयनिक यौगिकों का गलनांक उच्च क्यों होता है?

उत्तर- आयनिक यौगिक ठोस एवं कठोर होते हैं। ऐसा आयनों के बीच मजबूत अन्तर-आयनिक आकर्षण बल के कारण होता है। इस आकर्षण बल को कम करने के लिए अत्यधिक मात्रा में ऊर्जा की आवश्यकता होती है। यही कारण है कि आयनिक यौगिकों का गलनांक उच्च होता है।

प्रश्न 10. निम्न पदों की परिभाषा दीजिए-

(i) खनिज (ii) अयस्क (iii) गैंग

उत्तर- (i) खनिज- वे तत्त्व या यौगिक जो भू-पर्पटी में प्राकृतिक रूप से पाए जाते हैं, उन्हें खनिज कहते हैं।

(ii) अयस्क कुछ स्थानों पर खनिजों में कई विशेष धातुएँ अत्यधिक मात्रा में होती हैं जिन्हें आसानी से निकाला जा सकता है। इन खनिजों को अयस्क कहते हैं।

(iii) गैंग – पृथ्वी से प्राप्त खनिज अयस्कों में मिट्टी, रेत, आदि जैसी कई अशुद्धियाँ होती हैं जिन्हें गैंग कहा जाता है।

प्रश्न 11. दो धातुओं के नाम बताइए जो प्रकृति में मुक्त अवस्था में पाई जाती हैं।

उत्तर- सोना एवं प्लैटिनम ।

प्रश्न 12. धातु को उसके ऑक्साइड से प्राप्त करने के लिए किस रासायनिक प्रक्रिया का उपयोग किया जाता है?

उत्तर- कार्बन द्वारा अपचयन की प्रक्रिया।

प्रश्न 13. जिंक, मैग्नीशियम एवं कॉपर के धात्विक ऑक्साइडों को निम्न धातुओं के साथ गर्म किया गया-

धातु

जिंक ऑक्साइड

जिंक

 

मैग्नीशियम

 

कॉपर

 

मैग्नीशियम ऑक्साइड      
कॉपर ऑक्साइड      

किस स्थिति में विस्थापन अभिक्रिया घटित होगी?

उत्तर- (i) जब जिंक ऑक्साइड को मैग्नीशियम के साथ गर्म किया जाता है तो जिंक ऑक्साइड मैग्नीशियम के साथ द्विविस्थापन अभिक्रिया करके निम्न प्रकार से उत्पाद बनाएगा-

(ii) और (iii) जब मैग्नीशियम ऑक्साइड और कॉपर ऑक्साइड को जिंक के साथ गर्म किया जाता है तो कोई भी अभिक्रिया उत्पन्न नहीं होती है।

प्रश्न 14. कौन-सी धातु आसानी से संक्षारित नहीं होती है?

उत्तर- सोना, चाँदी और कॉपर आदि धातुएँ आसानी से संक्षारित नहीं होतीं।

प्रश्न 15. मिश्रधातु क्या होते हैं?

उत्तर- दो या दो से अधिक धातुओं के समांगी मिश्रण को मिश्रधातु कहते हैं। इसे तैयार करने के लिए पहले मूल धातु को गलित किया जाता है और फिर दूसरे तत्त्वों को एक निश्चित अनुपात में इसमें विलीन किया जाता है। फिर इसे कमरे के तापमान पर ठंडा किया जाता है।

 

अध्याय के कुछ महत्वपूर्ण  अभ्यास प्रश्न एवं उनके उत्तर

प्रश्न 1. निम्न में कौन-सा युगल विस्थापन अभिक्रिया प्रदर्शित करता है-

(a) NaCl विलयन एवं कॉपर धातु

(b) MgCl2 विलयन एवं ऐलुमिनियम धातु

(c) FeSO4 विलयन एवं सिल्वर धातु

(d) AgNO3 विलयन एवं कॉपर धातु

उत्तर- (d) AgNO3 विलयन एवं कॉपर धातु।

प्रश्न 2. लोहे के फ्राइंग पैन (frying pan) को जंग से बचाने के लिए निम्न में से कौन-सी विधि उपयुक्त है?

(a) ग्रीज लगाकर

(b) पेण्ट लगाकर

(c) जिंक की परत चढ़ाकर

(d) ये सभी

उत्तर- (c) जिंक की परत चढ़ाकर।

प्रश्न 3. कोई धातु ऑक्सीजन के साथ अभिक्रिया कर उच्च गलनांक वाला यौगिक निर्मित करती है यह यौगिक जल में विलेय है। यह तत्त्व क्या हो सकता है?

(a) कैल्सियम

(b) कार्बन

(c) सिलिकन

(d) लोहा

उत्तर – (a) कैल्सियम

प्रश्न 4. खाद्य पदार्थ के डिब्बों पर जिंक की बजाय टिन की परत होती है क्योंकि –

(a) टिन की अपेक्षा जिंक महँगा है

(b) टिन की अपेक्षा जिंक का गलनांक अधिक है

(c) टिन की अपेक्षा जिंक अधिक अभिक्रियाशील है

(d) टिन की अपेक्षा जिंक कम अभिक्रियाशील है

उत्तर- (c) टिन की अपेक्षा जिंक अधिक अभिक्रियाशील है।

प्रश्न 5. आपको एक हथौड़ा, बैटरी, बल्ब, तार एवं स्विच दिया गया है-

(a) इनका उपयोग कर धातुओं एवं अधातुओं के नमूनों को कैसे अलग कर सकते हैं?

(b) धातुओं एवं अधातुओं में विभेदन के लिए इन परीक्षणों की उपयोगिताओं का आकलन कीजिए।

उत्तर- (a) नीचे दिए गए चित्र के अनुरूप हम एक परिपथ बनाएँगे।

यदि नमूने को विद्युत परिपथ में लगाने पर स्विच ऑन करने पर बल्ब जलता है, तो दिया गया नमूना एक धातु है।

(b) यह विधि धातु एवं अधातु की जाँच के लिए बहुत ही उपयोगी है, किन्तु ग्रेफाइट एक अपवाद है क्योंकि यह अधातु होते हुए भी विद्युत का चालक है।

प्रश्न 6. उभयधर्मी ऑक्साइड क्या होते हैं? दो उभयधर्मी ऑक्साइडों का उदाहरण दीजिए।

उत्तर- वे ऑक्साइड जो अम्ल तथा क्षार दोनों से अभिक्रिया कर लवण प्रदान करते हैं, उभयधर्मी ऑक्साइड कहलाते हैं।

उदाहरण के लिए ऐलुमिनियम ऑक्साइड निम्नलिखित तरीके से अम्लों तथा क्षारों के साथ अभिक्रिया करता है:

Al2 O3 + 6HCI   → 2A1Cl3     + 3H2O

Al2O3 + 2NaOH →   2NaAlO2       + H2O

                                                                                                                                 (सोडियम ऐलुमिनेट)

जिंक ऑक्साइड एक अन्य उभयधर्मी ऑक्साइड है।

प्रश्न 7. दो धातुओं के नाम बताइए जो तनु अम्ल से हाइड्रोजन को विस्थापित कर देंगे तथा दो धातुएँ जो ऐसा नहीं कर सकती हैं।

उत्तर- हाइड्रोजन को विस्थापित करने वाली धातुएँ- मैग्नीशियम, जिंक। हाइड्रोजन को विस्थापित नहीं कर सकने वाली धातुएँ-कॉपर, सोना।

प्रश्न 8. किसी धातु M के विद्युत अपघटनी परिष्करण में आप ऐनोड, कैथोड एवं विद्युत अपघट्य किसे बनाएँगे?

उत्तर- इस प्रक्रिया में अशुद्ध धातु को ऐनोड बनाया जाता है तथा शुद्ध धातु की एक पतली प‌ट्टी को कैथोड बनाया जाता है। धात्विक लवण का उपयोग विद्युत अपघट्य के रूप में किया जाता है। उपकरणों को दिए गए चित्र के अनुसार व्यवस्थित किया जाता है। विद्युत अपघट्य से विद्युत प्रवाहित करने पर ऐनोड पर स्थित शुद्ध धातु विद्युत अपघट्य में घुल जाती है। शुद्ध धातु की इतनी ही मात्रा कैथोड पर जमा हो जाती है। विलयशील अर्शाद्धयाँ विलयन में पहुँच जाती हैं जबकि अविलयशील अशुद्धियाँ ऐनोड के नीचे जम जाती हैं, जिन्हें ऐनोड पंक कहा जाता है।

प्रश्न 9. प्रत्यूष ने सल्फर चूर्ण को स्पैचुला में लेकर उसे गर्म किया। चित्र के अनुसार एक परखनली को उल्टा करके उसने उत्सर्जित गैस को एकत्र किया।

(a) गैस की क्रिया क्या होगी

(i) सूखे लिटमस पत्र पर?

(ii) आर्द्र लिटमस पत्र पर?

(b) ऊपर की अभिक्रियाओं के लिए संतुलित अभिक्रिया लिखिए। रासायनिक

उत्तर-

(a)     (i) सूखे लिटमस पत्र पर कोई क्रिया नहीं होती।

(ii) यह गैस आर्द्र नीले लिटमस पत्र को लाल कर देती है।

(b) S+O2→ SO2

प्रश्न 10. लोहे को जंग से बचाने के लिए दो तरीके बताइए।

उत्तर- (a) यशदलेपन– इस प्रक्रिया में लोहे की वस्तुओं के ऊपर जिंक की एक परत चढ़ाई जाती है।

(b) पेण्टिंग– इस प्रक्रिया में लोहे की वस्तुओं पर पेण्ट किया जाता है।

प्रश्न 11. ऑक्सीजन के साथ संयुक्त होकर अधातुएँ कैसा ऑक्साइड बनाती हैं?

उत्तर- क्षारीय तथा उभयधर्मी ऑक्साइड।

प्रश्न 12. कारण बताइए-

(a) प्लैटिनम, सोना एवं चाँदी का उपयोग आभूषण बनाने के लिए किया जाता है।

(b) सोडियम, पोटैशियम एवं लीथियम को तेल के अंदर संगृहीत किया जाता है।

(c) ऐलुमिनियम अत्यधिक अभिक्रियाशील धातु है। फिर भी इसका उपयोग खाना बनाने वाले बर्तन बनाने के लिए किया जाता है।

(d) निष्कर्षण प्रक्रम में कार्बोनेट एवं सल्फाइड अयस्क को ऑक्साइड में परिवर्तित किया जाता है।

उत्तर- (a) प्लैटिनम, सोना एवं चाँदी बहुत कंम अभिक्रियाशील हैं तथा संक्षारित भी नहीं होते। उनकी चमक भी तेज होती है। इन्हीं कारणों से इनका उपयोग आभूषण बनाने के लिए किया जाता है।

(b) सोडियम एवं पोटैशियम जैसी धातुएँ इतनी अभिक्रियाशील हैं कि खुले में रखने पर तत्काल आग पकड़ लेती हैं। अर्थात् उन्हें बचाने तथा आग लगने से रोकने के लिए उन्हें किरोसीन तेल के अंदर संगृहीत किया जाता है।

(c) ऐलुमिनियम संक्षारित नहीं होता, साथ ही यह ऊष्मा का सुचालक है।

(d) किसी धातु को उसके सल्फाइड और कार्बोनेट की अपेक्षा उसके ऑक्साइड से प्राप्त करना अधिक आसान है। इसलिए अपचयन से पहले धातु सल्फाइड एवं कार्बोनेट को धातु ऑक्साइड में बदल लेना चाहिए।

प्रश्न 13. आपने ताँबे के मलीन बर्तन को नींबू या इमली के रस से साफ करते अवश्य देखा होगा। यह खट्टे पदार्थ बर्तन को साफ करने में क्यों प्रभावी हैं?

उत्तर-ताँबे के ऊपर आई वायु तथा CO के कारण कॉपर कार्बोनेट की एक हरी-सी परत बन जाती है, जो क्षारकीय प्रकृति की होती है। इसलिए जब इसे नींबू या इमली के रस से साफ करते हैं, तो इसमें मौजूद अम्ल क्षारक को उदासीन कर देता है और बर्तन साफ हो जाता है।

कॉपर कार्बोनेट+ साइट्रिक अम्ल →  कॉपर साइट्रेट + CO2 + H2O

प्रश्न 14. रासायनिक गुणधर्मों के आधार पर धातुओं एवं अधातुओं में विभेद कीजिए।

उत्तर-                                                          धातुओं तथा अधातुओं में विभेद

धातु

1. धातुएँ क्षारकीय ऑक्साइड बनाती हैं।

 

 

2. धातुएँ तनु HCI या तनु H2SO4 से अभिक्रिया कर H2 गैस मुक्त करती हैं, क्योंकि ये हाइड्रोजन को विस्थापित कर देती हैं।

3. धातुएँ अपचायक होती हैं।

अधातु

1. अधातुएँ अम्लीय या उदासीन ऑक्साइड बनाती हैं।

 

2. अधातुएँ तनु HCI या तनु H2SO4 से अभिक्रिया नहीं करती हैं अर्थात् ये हाइड्रोजन को विस्थापित नहीं करती हैं।

 

3. अधातुएँ उपचायक होती हैं।

 

4. धातुएँ इलेक्ट्रॉन त्यागकर धनात्मक आयन बनाती हैं।

 

5. धातुएँ जल (या भाप) से हाइड्रोजन को विस्थापित कर देती हैं।

 

6. सभी अधातुएँ H2 से संयोग कर हाइड्राइड बनाती हैं।

 

4. अधातुएँ इलेक्ट्रॉन ग्रहण कर ऋणा- त्मक आयन बनाती हैं।

 

5. अधातुएँ जल से या भाप से अभिक्रिया नहीं करती हैं। अतः हाइड्रोजन को जल से विस्थापित नहीं करती हैं।

6. सभी धातुएँ H₂ से संयोग कर हाइड्राइड बनाती हैं (केवल Na, K, Ca जैसे क्रियाशील तत्त्व बनाते हैं)।

प्रश्न 15. एक व्यक्ति प्रत्येक घर में सुनार बनकर जाता है। उसने पुराने एवं मलीन सोने के आभूषणों में पहले जैसी चमक पैदा करने का ढोंग रचाया। कोई संदेह किये बिना ही एक महिला अपने सोने के कंगन उसे देती है जिसे वह एक विशेष विलयन में डाल देता है। कंगन नए की तरह चमकने लगते हैं. लेकिन उनका वज़न अत्यन्त कम हो जाता है। वह महिला बहुत दुखी होती है तथा तर्क-वितर्क के पश्चात् उस व्यक्ति को झुकना पड़ता है। एक जासूस की तरह क्या आप उस विलयन की प्रकृति के बारे में बता सकते हैं?

उत्तर-उस सुनार द्वारा ऐक्वारेजिया विलयन का उपयोग किया गया।

प्रश्न 16. गर्म जल का टैंक बनाने में ताँबे का उपयोग होता है परंतु इस्पात (लोहे की मिश्रधातु) का नहीं। इसका कारण बताइए।

उत्तर-गर्म लोहा उबलते पानी से उत्पन्न भाप के साथ अभिक्रिया करता है, किंतु ताँबा जल के साथ अभिक्रिया नहीं करता है।

 

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